: च्यवनप्राश के साथ विनाशाय च दुष्कृताम और परित्राणाय साधूनाम का डंका बजेगा : अपवित्रों-पापियों की पृष्ठभूमि में बिना छीला बांस उगायेगा च्यवनप्राश व जमालगोटा : जगत-काय को स्वस्थ करेगा साशा सौवीर का सद्य-स्तनपायी जमालगोटा अवतार :
कुमार सौवीर
लखनऊ : एक पढ़ा-लिखा और अपने अध्ययन को लेकर समर्पित रहा व्यक्ति जब चंद नोटों के लिए अपना ईमान बेचने पर आमादा होता है, तो फिर उसकी सारी सीमाएं हर पायदान तक बौनी और नंगी होती जाती रहती हैं। जिन्दा नमूना है आधुनिक चिकित्सा पद्यति वाले ऐलोपैथिक डॉक्टरों द्वारा समाज में लूट-खसोट के लिए मचाया गया नंगा नाच। अपना खानदान, नाम, ख्याति और अपनी आत्मा तक को बेच चुके ऐलोपैथिक डॉक्टरों ने केवल अपनी आधुनिक चिकित्सा पद्यति ही नहीं, बल्कि अपनी हिप्पोक्रेटिक शपथ तक को नीलाम कर दिया है। यह डॉक्टर अब आयुर्वेद जैसे दीगर चिकित्सा पद्यति के वैद्यों-डॉक्टरों को भी अपनी गोद में बाकायदा जर-खरीद तवायफ की तरह बनाने, बिठाने, और पालने पर आमादा हैं।
ऐसे वैद्यों को झूठ का लबादा ओढ़ाने का बेहूदा सलीका भी सिखा दिया है इन ऐलोपैथिक डॉक्टरों ने। ऐसे वैद्यों को झूठ, लम्पटता और बेशर्मी का पूरा सबक रटा कर इन डॉक्टरों ने अपना अनैतिक धंधा चमकाना शुरू कर दिया है। ऐसे डॉक्टर अब अपनी बिरादरी पर भी अपने धंधे की झपटमारी और एक-दूसरे को मारने-निपटा देने के लिए ऐसे वैद्यों का सहारा ले रहे हैं।
बेहद शर्मनाक होती जा रही है ऐलोपैथिक डॉक्टरों की करतूतें। जौनपुर में जिस तरह वैद्यों-डॉक्टरों का पापी गठजोड़ हुआ है, उसके दूरगामी नतीजे निकलेंगे जरूर। मेरा दावा है कि ऐसे डॉक्टर अपने भविष्य के लिए अब खूनी व्यावसायिक रंजिश की खेती बोने जा रहे हैं। ऐसी रंजिश का अंजाम केवल ऐलोपैथिक और आयुर्वेद आदि चिकित्सा पद्यतियां ही नहीं, बल्कि पूरा समाज भी भुगतेगा। बाबा रामदेव जैसे कुत्सित, घिनौने और झूठे लुटेरे ने जिस तरह ऐलोपैथिक डॉक्टरी-क्षेत्र के गुहृय-क्षेत्र में अपना बिना छीला बांस की फसल को समर्पित कर दिया है, उसकी चीत्कार का ही प्रतिफल और टंकार है लुटेरे-हत्यारे ऐलोपैथिक डॉक्टरों द्वारा वैद्यों को जोड़ना। ऐसे अपवित्र और पापी गठजोड़ की पृष्ठभूमि में बिना छीला स्थापित करेगा च्यवनप्राश और जमालगोटा।
उधर ऐलोपैथिक-कंसों के साम्राज्य के खिलाफ दैवीय क्षमताएं भी स्थूल आकार लेने लगी हैं। आज जिस तरह दिल्ली में सुबह दस बज कर बीस मिनट पर श्रीकृष्ण ने एक ऐलोपैथिक कारागार में सीजीरियन ऑपरेशन की सलाखों और शूल-भाला की साजिशों को तोड़ कर स्वयं को मुक्त होकर अवतार लिया है, वह चमत्कार से भी ज्यादा हर्ष और आह्लादकारी है। खबर है कि समाज में ऐलोपैथिक लूट-पाट जैसे समाज को जवाब देने के लिए मेरी बेटी छुटकी बेटी साशा सौवीर ने एक महानतम कृष्ण को जन्म दिया है। मानव-वंश में अच्युतानंद और इतिहास के अजेय साबित होने वाले इस महानतम लीलाधर को मैंने जमाल-गोटा का नाम दे दिया है।
यह जमाल-गोटा भविष्य-काय को स्वस्थ करने के लिए अपने सहोदर बड़े भाई च्यवनप्राश के साथ सामाजिक कुरीतियों, अराजकताओं और विद्रूपताओं से जूझेगा।
परित्राणाय साधूनाम, विनाशाय च दुष्कृताम
गजब लिखा है सौवीर भाई! क्या कटाक्ष है.
Congratulations
बेटी साशा और चिरंजीव दौहित्र जी को शुभ आशीष