हनी-ट्रैप में फंसे इलाहाबादी बुढ़ऊ वकील, “पोती” ने मांगी कीमत

बिटिया खबर

: फंसा आला वकील-नेता, मचा बवाल : कीमत मांगी मकान, न मिलने पर गालियां : वीडियो वायरल, केवल मुख-मैथुन तक ही सीमित रहे बार के वयोवृद्ध पदाधिकारी : लखनऊ में भी खूब रौंदे जा चुके एक वकील : काला-कोट लोगों की भीड़, कोई नेता तो कोई ग्रुपिस्‍ट : बुढ़ऊ उवाच कि बाभन धेला न देगा, पंडताइन को असल बाभन की औलाद का वास्‍ता :

कुमार सौवीर

लखनऊ : इलाहाबाद का नाम भले ही प्रयागराज बन रख दिया गया हो, लेकिन यौन-अपराधों पर यहां तनिक भी फर्क नहीं पड़ा है। ताजा कर्मकांड तो इलाहाबाद बार में तब सामने आया, जब करीब 45 बरस की एक महिला वकील ने एक बड़े वकील पर हनी-ट्रैप में चहेट डाला। इन दोनों के बीच हुए डेढ़-रिश्‍तों का वीडियो भी वायरल हो चुका है। आपको बता दें कि जिन वकील पर यह आरोप लगा है, वह एक बार के लम्‍बे समय तक अध्‍यक्ष रह चुके तो हैं ही, साथ ही एक राजनीतिक दल में भी खासा रसूख रखते हैं। इन बड़े अधिवक्‍ता पदाधिकारी का उम्र है करीब 80 बरस। फिलहाल तो इन दोनों में मां-बहन और बेटी के रिश्‍तों को लेकर अपशब्‍दों का आदान-प्रदान हो रहा है।
हालांकि हनी-ट्रैप हर शहर की गलियों-मोहल्‍ले तक बहुत तेजी के साथ पहुंचता जा रहा है, लेकिन वकालत जैसे इलाके में इस तरह की घुसपैठ बहुत हैरतनाक है। इसलिए नहीं कि अदालतों और बार-समुदाय में ऐसे कु-कर्म करने वालों की तादात कम होती है, लेकिन सच यही है कि वकालत का इलाका खासा बख्‍तरबंद माना जाता है। यहां बहुत कम ही ऐसा हो पाता है कि अंदरूनी गंदगी, कींचड़ और बदबू को बाहरी व्‍यक्ति बहुत आसानी के साथ बाहर महसूस कर सके। लेकिन हर तरह की अपशिष्‍ट भरी कई नाले यहां की अदालतों और बार परिसरों के भीतर खूब प्रवाहित होती रहती हैं। लखनऊ हाईकोर्ट में एक बड़े वकील शैलेंद्र सिंह चौहान भी करीब दो बरस इसी हालातों से दो-चार रह चुके हैं। मामला अभी तक चल रहा है, लेकिन मामले का डील भी खासी तेजी से चल रहा है। चर्चा तो यहां तक चल रही है कि हनी-ट्रैप के चक्‍कर में एक दूसरे राज्‍य में मुखिया रहे बड़े जज साहब से करीब 80 लाख रुपयों की उगाही की जा चुकी है, और इसमें एक पदाधिकारी भी इस में शामिल रहे हैं।
एक अधेड़ महिला वकील और एक वयोवृद्ध अधिवक्‍ता के बीच करीब डेढ़-सम्‍बन्‍धों का एक वीडियो जारी हो गया है। यह वीडियो और उसके साथ इन दोनों के बीच फोन पर हो रही भद्दी-भद्दी गालियों का आदान-प्रदान मानसून की कड़क धूप की तपिश की तरह लू फेंक रहा है, लेकिन इस वीडियो और ऑडियो के चलते अधिवक्‍ताओं के बीच इस पेशे में गंदगी की हरियाली को खूब सहलाना, दुलराना और चटखारा लेना शुरू कर दिया है।
ब्राह्मणवाद-विरोधियों के लिए यह झगड़ा किसी आनंदमय और अह्लादकारी भाव पैदा करने वाला हो सकता है, क्‍योंकि इस मामले में दोनों ही पक्ष ब्राह्म्‍ण हैं। इसमें वयोवृद्ध की उम्र तो है करीब 80 बरस, जबकि महिला वकील की उम्र है उनकी बेटी, पतोहू, या पोती अथवा दर-पतोहू वाली। यानी अंदाज समझ लीजिए करीब 45 बरस। सूत्र बताते हैं कि इन दोनों की ही वकालत केवल नाम-मात्र तक ही सीमित है। एक का काम नेतागिरी करना है, जबकि दूसरी महिला वकील का काम है ऐसे आशिक-मिजाज लोगों को खोजने-फंसाने के लिए चारा लगाये कटिया थामे रखना। अब तक तो छोटी सहरी, या टेंगन या बैकर जैसी छोटी-मोटी मछलियां वे लपक कर अपना भरण-पोषण्‍ कर लिया करती थीं, लेकिन उनके हर्ष का पारावार तब हो गया, जब पता कि उनकी चारा-कटिया में एक बड़की ह्वेल ही फंस गयी। यह था एक बार एसोसियेशन का बड़का नेता।
वीडियो के मुताबिक पता चल रहा है कि इस महिला ने बढ़ऊ-वकील को अपने घर बुलाया था। साफ लग रहा है कि महिला वकील को अपने पीठ, सीने और अपने पेड़ू में दर्द के लिए रबर-बोतल से सिंकाई के लिए किसी मददगार की जरूरत है, जिसे बुढ़ऊ-वकील नेता ने तत्‍परता के साथ पूरा करना शुरू कर दिया। बुढ़ऊ को लगातार प्रेरणा दे रही हैं अधेढ़ महिला। अधेढ़ महिला भू-लुण्ठित लेटी है, जबकि जावेद-अख्‍तर से प्रचारित अस्थि-सुधा की मालिश होने के बावजूद पलंग से नीचे जमीन तक उतरने में बुढ़ऊ की छींक निकली जा रही हैं। जाहिर है कि घुटनों का दर्द महिला के प्रति इश्‍क से कम नहीं है। लेकिन आखिरकार जोश ही जीता, और बुढ़ऊ जमीन पर आ गये। लगातार प्रेरणा देती रहीं पंडिताइन उन पंडि़त-बुढ़ऊ को।
और फिर क्‍या था। अपना सारा ध्‍यान अति-केंद्रित करके पंडित बुढ़ऊ ने पंडिताइन वकील से डेढ़-इश्‍क कर ही डाला। डेढ़-इश्‍क इसलिए, क्‍योंकि वे करीब 9 मिनट तक महिला जी का केवल मुख-मैथुन करके ही अशक्‍त और श्‍लथ ही नहीं, बल्कि संतुष्‍ट भी हो गये। बंदर भले न बन पाये, लेकिन कूकुर की तरह काफी देर तक हांफते ही रहे। लेकिन इन दोनों वकीलों के इस सम्‍पूर्ण कर्मकांड का वीडियो बन गया। वीडियो से साफ दिख रहा है कि इस वीडियो को तैयार करने में पंडिताइन वकील जी कंगना रनौवत की तरह किसी कुशल मूक फिल्‍म निर्देशक-अभिनेत्री की भूमिका में रही हैं।
अब वे अधेड़ महिला उस वीडियो की मोटी कीमत चाहती हैं। कीमत है बुढ़ऊ का मकान। लेकिन दोनों ही लोगों की ओर से अदालत-परिसरों में लॉबी बन चुकी है। दोनों के बीच ही अब फोन से गालियों की गटर-गंगा उछालें मार रही है। बुढ़ऊ के पक्ष का कहना है कि बाभन वह होता है, वह एक रोम तक नहीं दे पाता। जबकि अधेड़ वकीलन ताल ठोंक रही हैं कि मकान ले लिया तो समझो वे असल बाभन की औलाद नहीं।

1 thought on “हनी-ट्रैप में फंसे इलाहाबादी बुढ़ऊ वकील, “पोती” ने मांगी कीमत

  1. अरे आप भी बड़े चटखारे लेकर सजीव वर्णन कर दिए ।😂😂😂

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