: जांजगीर कलेक्टर पर दुराचार का मुकदमा दर्ज : जिलाधिकारी कार्यालय स्थित अपने प्राइवेट चैम्बर में हुआ हादसा : पीडि़त महिला के पति को नौकरी से बर्खास्त करने की धमकी भी दी थी डीएम ने :
दोलत्ती संवाददाता
जांजगीर : छत्तीसगढ़ में कलेक्टरों की रंगरेलियां अब सतह पर दिखने लगी हैं। एक महिला ने जांजगीर कलेक्टर पर दुराचार का मुकदमा दर्ज कराया गया है। महिला का आरोप है कि उस कलेक्टर जनक प्रसाद पाठक ने जिलाधिकारी कार्यालय स्थित अपने चैम्बर में यह दुष्कर्म किया। फिलहाल सन 2007 बैच के इस आईएएस जनकप्रसाद पाठक को जांजगीर के कलेक्टर पद से हटा दिया गया है। हैरत की बात है कि इस सम्बन्ध में मुख्य सचिव का कहना है कि उनके पास अभी कोई जानकारी नहीं आयी है, लेकिन इस मामले में वो जानकारी लेकर परीक्षण करायेंगे। हालांकि मामला वायरल हो जाने के बाद प्रदेश के जनसंपर्क आयुक्त तारण प्रकाश सिन्हा ने बताया है कि पाठक पर रेप की शिकायत के बाद सरकार ने भी संज्ञान लिया है और अग्रिम कार्रवाई की जा रही है।
आपको बता दें कि इस महिला ने कई साक्ष्य के साथ वर्तमान कलेक्टर यशवंत कुमार से शिकायत की थी, जिस पर कलेक्टर ने पुलिस अधीक्षक पारूल माथुर को जांच के निर्देश दिये हैं।
आरोप है कि महिला को एनजीओ का काम दिलाने के एवज में कलेक्टर ने उसे झांसा दिया और उसका बलात्कार किया। आरोप है कि महिला के साथ एक बार नहीं, कई दफा कलेक्टर ने शारीरिक संबंध बनाया और बार-बार ये झांसा देता रहा कि जल्द ही उसके एनजीओ को काम दिला देगा। लेकिन करीब डेढ़ महीने बाद भी कलेक्टर ने महिला का काम नहीं किया।
महिला ने कलेक्टर के साथ अपनी बातचीत की रिकार्डिंग और कुछ तस्वीरें भी पुलिस को दी है। महिला ने जो बातचीत और मैसेज के सबूत दिये हैं, उसमें कलेक्टर की उससे नियमित बात होती थी। हैरानी की बात ये है कि महिला से न सिर्फ कलेक्टर आपत्तिजनक बातें किया करते थे, बल्कि पर्सनल तस्वीरों की भी डिमांड किया करते थे। कई दफा कलेक्टर ने महिला की प्राइवेट पार्टी भी तस्वीरें मोबाइल पर मंगायी थी। महिला का आरोप है कि ना सिर्फ महिला से पर्सनल तस्वीरें मांगी जाती थी, बल्कि खुद भी कलेक्टर अपना पर्सनल फोटो भेजा करते थे। महिला का आरोप है कि जब कलेक्टर की तरफ से झांसा दिये जाने का अहसास उसे हुआ तो उसने कलेक्टर से दूरियां बनानी शुरू कर दी।
कलेक्टर को जैसे ही महिला का बदला व्यवहार नजर आया, उन्होंने उसे उसे प्रताड़ित करना शुरू कर दिया, यही नहीं महिला का आरोप है कि उसके पति को नौकरी से बर्खास्त तक करने की धमकी दी गयी। कलेक्टर की दबंगई देखकर महिला सहम गयी। आरोप है कि इसलिए कलेक्टर रहते तक वो चुप रही और अब तबादला होने के बाद उसने पुलिस में इसकी शिकायत दर्ज करायी है। महिला ने जांजगीर महिला थाने में कलेक्टर के खिलाफ शिकायत दर्ज करायी है।
मूलत: बस्तर निवासी जनक प्रसाद पाठक ने हायर सेकेंडरी की परीक्षा बीजापुर जिले के भोपालपटनम से उत्तीर्ण की थी। इसके बाद 1989-90 में शासकीय पीजी कॉलेज धरमपुरा से भूगर्भ शास्त्र में स्नातकोत्तर किया। वर्ष 1994 में वे राज्य लोक सेवा आयोग के माध्यम से डिप्टी कलेक्टर के रुप में चयनित हुए। पहली नियुक्ति राजनांदगांव में मिली, इसके बाद वे जांजगीर रायगढ़ में एसडीएम, जांजगीर-चांपा धमतरी में जिला पंचायत के सीईओ, दुर्ग में अपर कलेक्टर और कोरबा में जिला पंचायत के सीईओ रह चुके हैं। पांच बरस पहले ही उनको आईएएस कैडर दिया गया था।