मासिक धर्म जैसे हिचक वाली बातों पर खुल कर बतियाती है यह फिल्म
मुम्बई : धर्मा प्रोडक्शन्स की फिल्म गिप्पी भले ही कई लोगों को पसंद न आई हो लेकिन महिलाओं खासकर किशोर उम्र की लड़कियों को यह जरूर भा रही है. फिल्म का निर्देशन नवोदित निर्देशिका सोनम नायर ने किया है.
करन जौहर के धर्मा प्रोडक्शन के बैनर तले बनी फिल्मल गिप्पी पर चर्चा करने से पहले हम एक लाइन में फिल्म का संदेश आपको बताना चाहेंगे. यह संदेश है- टीनेजर्स के लिये स्कूल सिर्फ सेक्स और लवमेकिंग पर चर्चा करने के लिये बने हैं. यह फिल्मी ड्रामा भारत के उभरते हुए कल्चर की तस्वीर प्रस्तुत जरूर करता है, लेकिन कहीं न कहीं उस वर्ग को ऐसे माहौल की ओर आकर्षित भी करता है, जो अभी भी भारतीय संस्कति की आबो-हवा में पल-बढ़ रहे हैं.
इस फिल्म में रिया विज, ताहा शाह, दिव्याप दत्ता, जयती मोदी, दूर्वा त्रिपाठी, पंकज धीर, अरबाज किदवई, आदित्य देशपांडे ने काम किया है. निर्माता कहते हैं कि यह फिल्म टीनेजर्स ही नहीं बल्कि हर उम्र के लिये बनी है, लेकिन अफसोस की बात यह है कि जो संवाद इस फिल्म में प्रयोग किये गये हैं, वो हाई क्लास परिवारों में भी नहीं होते.
संवादों में टीन-एजर लड़की के शरीर में होने वाले परिवर्तनों पर खुलकर चर्चा की गई है. पीरियड यानी मासिक धर्म की बात करते वक्त कोई भी हिन्दुस्तानी लड़की चार बार झिझकती है, इस फिल्म ने यह झिझक तोड़ दी. खैर स्वारस्य की दृष्टि से यह ठीक है, लेकिन बात जब वैक्सिंग और स्तनों के आकार की आती है, तो अगर कोई पिता अपनी बेटी के साथ फिल् देख रहा है, तो शर्म जरूर आ जायेगी. यही नहीं नॉनवेज जोक्स और टीनेजर्स में ऑपोजिट सेक्स के प्रति आकर्षित इस प्रकार चर्चा की गई है कि मानो बच्चे स्कूम सिर्फ इसीलिये जाते हों. ( जारी )
इस फिल्म को पूरी तरह समझना चाहें तो कृपया क्लिक करें:- अभी अभी टीन-एजर से उबरे लोगों की नजर से यह फिल्म है बेहूदा