नेहरू नगर के रंगीले नेहरू ने नेहरूनगर वालों का जीना हराम कर दिया, होशियार कर दो अपने मासूम बच्‍चों को

ज़िंदगी ओ ज़िंदगी

: परबाबा उम्र के बुढ़ऊ कई बार पिटे जा चुके हैं परपोतियों से अश्‍लील हरकतें करने में : 25 साल पहले पीडब्‍ल्‍यूडी से वरिष्‍ठ पद से रिटायर हो चुके इस इंजीनियर से त्रस्‍त हैं मोती नगर के बाशिन्‍दे : न जाने कैसी जवानी चढ़ जाती है कब्र की दहलीज पर टांग लटकाये लोगों में :

कुमार सौवीर

लखनऊ : लखनऊ में नेहरू के खानदान की महान शख्सियतों की यादगार बनाये रखने के लिए कई बड़े-बड़े मोहल्‍ले बसाये हुए हैं। मकसद यह है कि ऐसे महान शख्सियतों की याद बनी रहे ताकि आने वाली नस्‍लों को भी उनसे लगातार परिचय होता रहे। उनमें से तो मोतीलाल नेहरू जी के नाम पर एक कॉलोनी बसी हुई है। नाका हिण्‍डोला के समीप। नाम है मोती नगर। लेकिन इस कालोनी के ठीक सटी एक कालोनी का नाम मोतीलाल नेहरू जी के बेटे और देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू के नाम पर रखा गया है। यह दोनों ही कालोनियां राजधानी की खासी नामचीन और सम्‍भ्रान्‍त कालोनियां मानी जाती हैं।

अब तक तो यह दोनों कालोनियां अपने बाशिंदों के लिए गर्व और आसपास के लोगों में प्रसन्‍नता का प्रतीक मानी जाती रही हैं। लेकिन इधर कुछ समय से इन कालोनियों में रहने वालों की हरकतों ने आसपास के लोगों में भारी गुस्‍सा और क्षोभ फैला दिया है। कारण बन गये हैं कब्र पर अपना पैर लटकाये हुए लोग। यह लोग अब हरिनाम और भजन-पूजन के बजाय अब अब कालोनियों की मासूम बच्चियों के साथ यौन-क्रीड़ा की अपनी हरकतों से चर्चा और फिर सरेआम पिटाई को लेकर कुख्‍यात हो गये हैं।

बताते हैं कि इन कालोनियां ही नहीं, बल्कि आपसास के कई मोहल्‍लों में ही इन लोगों की कुत्सित हरकतें अब खासी चर्चा में आ चुकी हैं। लेकिन खास तौर पर नेहरू नगर और मोती नगर के रहने वालों का तो जीना हराम ही कर दिया है इन बुजुर्गवार लोगों ने। कई बार सरेआम पिटाई-कुटाई और जूता-लात खाने के बावजूद इन बुढ़ऊ लोगों का दिमाग ठिकाने पर नहीं आ पाया है। तब भी, जब इस मामले पर ऐसे लोगों की सरेआम और कई-कई बार लानत-मलामत भी हो चुकी है।

इनमें से एक बुजुर्गवार को लेकर तो पूरा मोहल्‍ला ही त्रस्‍त हो चुका है। यह सज्‍जन की उम्र होगी 85 साल से ऊपर। पीडब्‍ल्‍यूडी में यह इंजीनियर साहब वरिष्‍ठ पद से रिटायर हो चुके हैं। उनके बेटे और उनके पोते तक अच्‍छे पदों तक सेटल हो चुके बताया जाता है। इनकी पत्‍नी की मृत्‍यु भी काफी समय ही हो चुकी है। नौकरी में उन्‍होंने खासा पैसा कमाया और लुटाया भी है। बेहिसाब कमाई के चलते उनकी आदतें भी दशकों पहले से ही बेहिसाब हो चुकी हैं। लेकिन पत्‍नी की मृत्‍यु के बाद से तो मानों इन साहब की सारी यौन-इच्‍छाओं के सारे के सारे पंख ही निकल आये।

मोती नगर की रहने वाली एक युवती ने मेरी बिटिया डॉट कॉम को बताया कि अब पिछले बरसों से इन बुजुर्ग साहब ने आसपास के कई मोहल्‍लों के रहने वालों का जीना हराम कर रखा है। उन्‍होंने बताया कि इन बुजुर्ग महाशय कई महीनों से कालोनी या आसपास की कालोनियों-मोहल्‍लों की अबोध बच्चियों को टॉफी-बिस्‍कुट-गुब्‍बारा का लालच देकर उनसे अश्‍लीलता करते पकड़े जा चुके हैं। बताते हैं कि इन मासूम बच्चियों में 4 से 7 साल तक की बच्चियां शामिल हैं। कई बार तो इन कालोनियों के लोगों ने तो उनकी उम्र का लिहाज करते हुए उन्‍हें सावधान किया, लेकिन जब कई बार जब पानी नाक से ऊपर निकलता दिखा तो कुछ लोगों ने उस बुजुर्गवार को सरेआम पीट भी दिया।

दोस्‍तों। आज तो मैं दिल्‍ली में हूं। 14 की शाम तक ही लखनऊ लौट पाऊंगा। लेकिन लौटते ही ऐसी समस्‍याओं पर जरूर हस्‍तक्षेप करूंगा कि आखिरकार बुजुर्गों पर चढती ऐसे जवानी का असल माजरा क्‍या है। इस बारे में मेरी बिटिया डॉट कॉम कुछ भुक्‍तभोगियों से भी बात करेगी और उसके साथ ही साथ बुजुर्गों की मानसिक या यौन समस्‍याओं का सामाजिक या मनोशास्‍त्र से जुड़े विशेषज्ञों-विज्ञानियों से बातचीत करेंगी।

इस ऐसी रिपोर्ताज को देखने-पढने के लिए आप चाहें तो तब निम्‍न लिंक पर क्लिक कर सकेंगे:- वाकई एक गम्‍भीर समस्‍या है बुढ़ौती में बढ़ती जवानी की हिलोरें

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *