जातीय उन्‍माद नहीं, निष्‍ठा पर जिंदा है पत्रकारिता: कमर वहीद नकवी

: आनंद स्‍वरूप वर्मा के अनुसार हिन्‍दी पत्रकारिता ब्राह्मणों नहीं, योद्धाओं के बल पर जिन्‍दा : अयोध्‍या ही नहीं, फैजाबाद के कमरे में एक-एक गुम्‍बद पर तीन-तीन पत्रकार चढ़े थे : संपादक से महाप्रबंधक तक का सफर राघवेंद्र चढ्ढा ने : एक राष्‍ट्रीय अंग्रेजी के कट्टर हिंदूवादी ब्‍यूरो चीफ अपने दामाद के भाई को एक […]

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जमालगोटा आया, तो विनोद शुक्‍ल स्‍मृतियां धड़धड़ा कर बाहर

: डॉ उपेंद्र पांडेय ने उगलीं दैनिक जागरण की कठोपनिषद वाली समस्‍याएं, मनो-कब्‍ज बाहर : विष्णु त्रिपाठी, रामेश्वर पाण्डेय काका, शेखर त्रिपाठी, जेके द्विवेदी, राजू मिश्र, अजय शुक्‍ल, आशुतोष शुक्ल, ब्रजेश शुक्ल, नदीम, सदगुरु अवस्‍थी और रमाशरण : कमलेश रघुवंशी, राघवेंद्र दुबे, सरोज अवस्थी, दिलीप शुक्ल तो बस टिप आफ आइसबर्ग : अनूठा औघड़ नाम […]

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