सुब्रत राय: हमने सहारा प्रेस घेर लिया, बिजली-पानी काट दिया
: सौ जूतों से रूतबा गालिब नहीं होता, यह वो खजाना है जो कभी खत्म नहीं होता : तय हुआ कि अब बातचीत नहीं, हम केवल हां ही सुनेंगे : सुबोध नाथ गिड़गिड़ाये कि हमारे लोगों को रिहा कर दीजिए : कुमार सौवीर लखनऊ : सिर्फ इतना ही याद है कि मजदूरों और पीएसी वालों […]
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